25 March 2025
Pradyumn Thakur
तेल का कुआं धरती में खोदा गया एक गहरा छेद होता है. इससे तेल और गैस को बाहर निकाला जाता है.
तेल के कुएं बनाने के लिए ड्रिलिंग रिग का इस्तेमाल होता है. ड्रिलिंग रिग एक बिट को घुमाकर छेद बनाता है.
छेद तैयार होने के बाद उसमें स्टील की पाइप डाली जाती है. इसे केसिंग कहते हैं. यह छेद को मजबूत बनाती है.
गहराई बढ़ाने के लिए छोटे बिट और पाइप का इस्तेमाल होता है. भारत में तेल के कुएं असम के डिग्बोई में हैं.
डिग्बोई को असम का तेल शहर कहते हैं. उत्तर प्रदेश के बलिया और बदायूं में भी तेल मिला है.
तेल निकालने के लिए कुआं बहुत गहरा खोदा जाता है. भारत में 2017-18 में 545 कुएं खोदे गए थे.
ये कुएं तेल और गैस का उत्पादन करते हैं. तेल के कुएं प्राकृतिक संसाधनों को सतह पर लाते हैं. असम में तेल की खोज 18वीं शताब्दी में हुई थी.