बड़ी कार, बड़ा स्टेटस: 10 लाख से ज्यादा कीमत वाली कारों की बिक्री में तगड़ी बढ़त
भारत में बीते सालों में सवारी वाहनों (PVs) की दामों में भारी उछाल आया है. बढ़ती दाम के कई कारक है जिनमें कोविड के बाद लोगों की बदली मानसिकता से लेकर देश की बढ़ती जीडीपी शामिल है.
देश में पैसेंजर वाहनों की कीमत बीते सालों में लगातार बढ़ी है. ऑटोमोबाइल सेक्टर में इस डिवीजन के दामों में उछाल की वजह लोगों का एसयूवी के तरफ बढ़ता रुख है. भारत में यात्री वाहनों की औसत बिक्री कीमत (ASP) में लगभग 4 लाख रुपये की बढ़ोतरी हुई है. टॉप कार मेकर्स के जारी आंकड़ों के मुताबिक, वित्त वर्ष 2024 (FY24) में एक कार की ASP 11.5 लाख रुपये रही, जो वित्त वर्ष 2019 (FY19) में 7.61 लाख रुपये थी.
रिपोर्ट के मुताबिक, वित्त वर्ष 2024-25 में भारत में बेची गई 47 प्रतिशत कारों की कीमत 10 लाख रुपये से ज्यादा थी, जबकि FY19 में यह आंकड़ा सिर्फ 15 प्रतिशत तक सीमित था. इसके विपरीत, FY19 भारत में बेची गई 85 प्रतिशत कारों की कीमत 10 लाख रुपये से कम थी, जो FY24 में घटकर 53 प्रतिशत रह गई. इस बढ़त का प्रमुख कारण कारों की इनपुट लागत में इजाफा और एसयूवी की बढ़ती मांग को माना जा रहा है. एसयूवी की कीमतें समान सेगमेंट की सेडान और हैचबैक कारों से ज्यादा होती हैं.
लॉकडाउन के बाद बढ़ी कारों की बिक्री
कार निर्माताओं के अनुसार, इस बदलाव के पीछे और कई कारक है. भारत की बढ़ती GDP और कोविड के बाद लोगों की बीच आई YOLO (You Only Live once) मानसिकता भी बढ़त की जिम्मेदार है. साथ ही महिला खरीदारों की संख्या में वृद्धि और कॉर्पोरेट सैलरी में हुए इजाफे ने भी बढ़त में योगदान दिया है.
बैंक ऑफ बड़ौदा के मुख्य अर्थशास्त्री मदन सबनवीस का मानना है कि लॉकडाउन के बाद प्रीमियम कारों और एसयूवी की खरीद में तेजी देखी गई है. फाइनेंशियल एक्सप्रेस के हवाले से सबनवीस ने कहा, “जैसे ही कोई व्यक्ति काम करना शुरू करता है, उसके अंदर बड़ी और आकर्षक कार खरीदने की चाहत होती है. बैंक और NBFCs के आसान क्रेडिट सुविधा ऐसे इच्छाओं को और प्रबल कर देते हैं”
टॉप-एंड वेरिएंट्स ज्यादा लोकप्रिय
कार निर्माताओं के जारी आंकड़ों के मुताबिक, एसयूवी अब कुल कार बिक्री का लगभग 55 प्रतिशत हिस्सा है, और इसकी शुरुआती कीमत 7-8 लाख रुपये के बीच है. उदाहरण के तौर पर, हुंडई क्रेटा जो भारत की सबसे अधिक बिकने वाली एसयूवी है, उसकी शुरुआती कीमत 11 लाख रुपये है.
हालांकि, इसका टॉप-एंड वेरिएंट, जिसकी कीमत 17.27 लाख रुपये से 20.15 लाख रुपये तक है, क्रेटा की कुल बिक्री में 30 प्रतिशत से अधिक का योगदान देता है. वहीं सनरूफ वाले एसयूवी वेरिएंट्स बिक्री में 70 प्रतिशत की भागीदारी निभाते हैं. ADAS सेमीऑटोमेटिक ड्राइविंग वेरिएंट का क्रेटा के कुल बिक्री में 42 प्रतिशत का योगदान है. यह बिक्री दिखाती है कि मंहगे दाम के बावजूद ग्राहक टॉप-एंड वेरिएंट्स जो तमाम फीचर से भरा हुआ है, उसे ज्यादा वरीयता देते हैं.