खाने वाले तेल के घटेंगे दाम, अमेरिका और चीन के बीच छिड़ा टैरिफ वॉर का भारत को मिलेगा फायदा!
Edible Oil Prices: चीन ने अमेरिका से सोयाबीन के आयात पर 25 फीसदी आयात शुल्क के अलावा 10 फीसदी का अतिरिक्त शुल्क लगाया है. इस वजह से ग्लोबल ऑयल मार्केट में कीमतों पर दबाव देखने को मिल रहा है. भारत बड़े पैमाने पर खाने के तेल इंपोर्ट करता है.
Edible Oil Prices: महंगाई के मोर्चे पर लोगों को थोड़ी राहत मिल सकती है. खबर है कि अप्रैल-जून तिमाही में खाने वाले तेल की कीमतों में नरमी आने वाली है. इसके पीछे की वजह अमेरिका का टैरिफ है. दरअसल, चीन ने अमेरिका से सोयाबीन के आयात पर 25 फीसदी आयात शुल्क के अलावा 10 फीसदी का अतिरिक्त शुल्क लगाया है. इस कदम से पिछले तीन दिनों में ग्लोबल मार्केट में सोया ऑयल की कीमतों में 50 डॉलर प्रति टन की गिरावट आई है. साथ ही सूरजमुखी और पाम ऑयल जैसे अन्य तेलों की कीमतों पर भी दबाव बना है, इन तेलों की कीमतों में भी गिरावट आई है.
कीमतों में आई है गिरावट
हालांकि, भारत अमेरिका से भारी मात्रा में सोयाबीन तेल का आयात नहीं करता है, लेकिन चीन की घोषणा ने बाजार में नेगेटिव सेंटीमेंट पैदा कर दिया है. इस वजह से खाने वाले तेल के बाजार में कीमतें टूटी हैं. चीन के टैरिफ लगाने के बाद अमेरिका से सोयाबीन के इंपोर्ट में कमी आएगी, जिससे ग्लोबल मार्केट में सोयाबीन की उपलब्धता बढ़ जाएगी.
चीन के फैसले के बाद सोयाबीन तेल की कीमतों को नुकसान हो रहा है, जो तीन दिन पहले 1,150 डॉलर प्रति टन से घटकर 1,100 डॉलर प्रति टन पर आ गई हैं. पिछले तीन दिनों में सूरजमुखी तेल की कीमतें 1,190 डॉलर प्रति टन से घटकर 1,150 डॉलर प्रति टन और पाम तेल की कीमतें 1,240 डॉलर प्रति टन से घटकर 1,200 डॉलर प्रति टन हो गई हैं.
कितनी कम हो सकती है कीमत
ईटी ने उद्योग के अधिकारियों के हवाले से लिखा कि अप्रैल में तेल की कीमतें मौजूदा स्तरों से 4 फीसदी कम हो सकती हैं. वर्तमान में एक किलो सोयाबीन तेल की कीमत 150-155 रुपये है. भारत अपनी खपत का 65 फीसदी से अधिक तेल इंपोर्ट करता है और 2023-24 में खाद्य तेलों पर इसका आयात बिल 15.9 बिलियन डॉलर था. ब्राजील के बाद अमेरिका दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा सोयाबीन उत्पादक और निर्यातक है. सोयाबीन अमेरिका के तिलहन उत्पादन का 90 फीसदी से अधिक हिस्सा है.
भारत कितना तेल करता है इंपोर्ट
यूनाइटेड स्टेट्स डिपार्टमेंट ऑफ एग्रीकल्चर (USDA) के अनुमानों के अनुसार, अमेरिका 2024-25 सीजन में 118.83 मिलियन सोयाबीन का उत्पादन करेगा, जो पिछले सीजन से 10.1 फीसदी अधिक है. भारत सालाना 22-23 मिलियन टन खाद्य तेलों का उपभोग करता है और अपनी घरेलू खपत को पूरा करने के लिए लगभग 14.5-15 मिलियन टन आयात करता है. देश में 90 लाख टन पाम ऑयल और 25-30 लाख टन सोयाबीन और सूरजमुखी तेल का आयात होता है.