Gold Price Today: सोना हुआ महंगा, चांदी 500 रुपये सस्ती, जानें कितना हुआ भाव?
Gold Price मे अब फिर से अपसाइड ट्रेंड बन रहा है. पिछले दो दिन में गोल्ड के प्राइस में लगातार तेजी आई है. वहीं, मंगलवार को चांदी का भाव 500 रुपये टूटकर एक लाख रुपये से नीचे आ गया है.
Gold prices में मंगलवार को 250 रुपये का उछाल आया है. ऑल इंडिया सराफा एसोसिएशन के मुताबिक नई दिल्ली में सोने का भाव 25 फरवरी को 89,350 रुपये प्रति 10 ग्राम रहा. यह लगातार दूसरा दिन है, जब सोने का भाव बढ़ा है. सराफा एसोसिएशन का कहना है कि सोने के भाव बढ़ने के पीछे रुपये में कमजोरी है. इसके अलावा ट्रेडर्स और जूलर्स की तरफ से भी डिमांड बढ़ रही है. इसके साथ ही सराफा एसोसिएशन ने बताया कि मंगलवार को चांदी का भाव 500 रुपये टूटकर 99,500 रुपये प्रति किलो रहा.
सराफा एसोसिएशन के मुताबिक दिल्ली में मंगलवार को 99.5 फीसदी प्योरिटी वाले गोल्ड की कीमत में 250 रुपये का इजाफा हुआ. इसका भाव 88,950 रुपये प्रति 10 ग्राम रहा. इससे पहले सोमवार को 99.5 फीसदी प्योरिटी वाले गोल्ड का भाव 88,700 रुपये प्रति 10 ग्राम रहा था. वहीं, 20 फरवरी को 99.9 और 99.5 फीसदी प्योरिटी वाले गोल्ड का भाव ऑल टाइम हाई पर रहा. 99.9 फीसदी प्योरिटी वाले गोल्ड का ऑल टाइम हाई 89,450 और 99.5 फीसदी प्योरिटी वाले गोल्ड का ऑल टाइम हाई भाव 89,050 रुपये प्रति 10 ग्राम है.
चांदी में क्यों आई गिरावट
मेहता इक्विटीज लिमिटेड के वाइस प्रेसिडेंट कमोडिटीज राहुल कलंत्री का कहना है कि इंडस्ट्रियल मेटल्स में आई कमजोरी का असर चांदी पर भी पड़ा है. इसके अलावा डॉलर इंडेक्स में आए उछाल की वजह से भी चांदी में गिरावट आई है. इसके अलावा ग्लोबल इक्विटी मार्केट में ट्रंप के टैरिफ वॉर का भय बना हुआ है, जिससे गोल्ड में लगातार मजबूती बनी हुई है. कलंत्री का कहना है कि अमेरिकी ट्रेजरी यील्ड में उलटफेर से निचले स्तर पर चांदी की कीमतों को समर्थन मिल सकता है.
MCX पर बढ़ा गोल्ड का भाव
मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX) पर भी गोल्ड फ्यूचर के भाव में तेजी आई. अप्रैल डिलिवरी वाले कॉन्ट्रैक्ट्स का भाव 275 रुपये बढ़कर 86,459 रुपये प्रति 10 ग्राम रहा. वहीं, मार्च डिलिवरी वाले सिल्वर फ्यूचर कॉन्ट्रैक्टस का भाव 241 रुपये टूटकर 95,330 रुपये प्रति किलो रहा. LKP सिक्योरिटीज के वाइस प्रेसिडेंट रिसर्च एनालिस्ट जतिन त्रिवेदी ने कहा कि एमसीएक्स में सोने का भाव पॉजिटिव रहा, क्योंकि रुपये के 87.10 के नीचे आने से घरेलू कीमतों को सपोर्ट मिला है.