भारत-अमेरिका ट्रेड डील को लेकर तैयारी तेज, 19 चैप्टर का टर्म्स ऑफ रेफरेंसेज तैयार; 23 अप्रैल से होगी बातचीत
भारत और अमेरिका के बीच द्विपक्षीय व्यापार समझौते दिशा में बड़ी प्रगति हुई है. 23 अप्रैल से वाशिंगटन में होने वाली बातचीत में भारतीय प्रतिनिधिमंडल भाग लेगा, जिसका नेतृत्व वाणिज्य मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव राजेश अग्रवाल करेंगे. इस वार्ता में टैरिफ कटौती और व्यापार असंतुलन जैसे मुद्दों पर बातचीत होगी.
India US Trade Deal: भारत और अमेरिका के बीच द्विपक्षीय व्यापार समझौते (Bilateral Trade Agreement) को लेकर बातचीत तेज हो गई है. दोनों देशों ने इस समझौते की रूपरेखा पर सहमति जताई है, जिसमें व्यापार, सर्विस, इनवेस्टमेंट और कस्टम प्रक्रियाओं से जुड़े लगभग 19 प्रमुख सेक्शन शामिल होंगे. पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, इस समझौते को लेकर अगले सप्ताह एक उच्च स्तरीय भारतीय प्रतिनिधिमंडल अमेरिका की राजधानी वाशिंगटन का दौरा करेगा.
23 अप्रैल से शुरू होगी वार्ता
यह प्रतिनिधिमंडल 23 अप्रैल से शुरू होने वाली तीन दिवसीय बातचीत में हिस्सा लेगा. इस टीम का नेतृत्व वाणिज्य मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव राजेश अग्रवाल करेंगे, जिन्हें हाल ही में अगला वाणिज्य सचिव नियुक्त किया गया है और वे 1 अक्टूबर से पदभार ग्रहण करेंगे.
यह बैठक अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधि (USTR) के सहायक प्रतिनिधि ब्रेंडन लिंच की हालिया भारत यात्रा (25 मार्च से 29 मार्च) और नई दिल्ली में हुई उच्च स्तरीय चर्चाओं की अगली कड़ी है. अधिकारियों का मानना है कि यह वार्ता दोनों देशों के बीच आर्थिक साझेदारी को मजबूती देने की दिशा में अहम कदम हो सकती है.
2030 तक 500 बिलियन डॉलर व्यापार का लक्ष्य
इस वार्ता की शुरुआत मार्च में हुई थी और लक्ष्य है कि इसका पहला चरण इस वर्ष सितंबर-अक्टूबर तक पूरा कर लिया जाए. भारत और अमेरिका 2030 तक द्विपक्षीय व्यापार को वर्तमान 191 अरब डॉलर से बढ़ाकर 500 अरब डॉलर तक पहुंचाने की दिशा में काम कर रहे हैं.
टैरिफ में कटौती की उम्मीद
2 अप्रैल को अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कई देशों पर रेसिप्रोकल टैरिफ की घोषणा की थी, जिसमें भारत पर 26 फीसदी टैरिफ लगाने की बात कही गई थी. हालांकि फिलहाल इसे 90 दिनों के लिए स्थगित किया गया है ताकि बातचीत के लिए समय मिल सके. प्रस्तावित ट्रेड डील में टैरिफ में व्यापक कटौती की संभावना है.
अमेरिका अपने इलेक्ट्रिक वाहनों, औद्योगिक सामान, वाइन, डेयरी उत्पादों, पेट्रोकेमिकल्स, सेब, अल्फाल्फा घास और ट्री नट्स जैसे उत्पादों के लिए भारत में पहुंच आसान चाहता है. वहीं भारत कपड़ा, आभूषण, चमड़े के सामान, रसायन, प्लास्टिक, झींगा, तेल बीज और बागवानी उत्पादों पर रियायतें चाहता है.
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व्यापार असंतुलन को लेकर अमेरिका की चिंता
2021-22 से 2024-25 के बीच अमेरिका भारत का शीर्ष व्यापारिक साझेदार बना रहा. 2024-25 के दौरान भारत ने अमेरिका के साथ 41.18 बिलियन डॉलर का व्यापार सरप्लस दर्ज किया, जो 2023-24 में 35.32 बिलियन डॉलर और 2022-23 में 27.7 बिलियन डॉलर था. यह बढ़ता हुआ असंतुलन अमेरिका के लिए चिंता का विषय बन गया है. उम्मीद है कि आगामी वार्ता में भारत और अमेरिका के बीच ऐतिहासिक व्यापार समझौते की नींव रखी जाएगी.