बिक गई अनिल अंबानी की कंपनी रिलायंस कैपिटल, IIHL ने इतने हजार करोड़ रुपये में खरीदा

अप्रैल 2023 में, इंडसइंड इंटरनेशनल होल्डिंग्स लिमिटेड (IIHL) ने कॉर्पोरेट इन्सॉल्वेंसी रेज़ोल्यूशन प्रोसेस (CIRP) के तहत रिलायंस कैपिटल का अधिग्रहण करने के लिए 9,650 करोड़ रुपये की सफल बोली लगाई. पिछले साल, IIHL ने भारतीय रिजर्व बैंक (RBI), भारतीय बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण (IRDAI), और विभिन्न स्टॉक व कमोडिटी एक्सचेंजों से सभी जरूरी मंजूरी प्राप्त कर ली थी.

बिक गया Reliance Capital. Image Credit: @tv9

Reliance Capital acquisition: इंडसइंड इंटरनेशनल होल्डिंग्स लिमिटेड (IIHL) के चेयरमैन अशोक हिंदुजा ने ऐलान किया है कि उनकी कंपनी ने रिलायंस कैपिटल का अधिग्रहण पूरा कर लिया है. यह प्रक्रिया तीन साल से चल रही थी. IIHL ने बोली की पूरी रकम लेंडर के एस्क्रो अकाउंट में ट्रांसफर कर दी है और बुधवार को कंपनी का प्रबंधन आधिकारिक रूप से IIHL के हाथों में आ जाएगा.

पीटीआई की रिपोर्ट के मुताबिक, IIHL ने रिलायंस कैपिटल (RCAP) के अधिग्रहण के लिए 9,650 करोड़ रुपये की सफल बोली लगाई. बाद में, IIHL ने RCAP की वित्तीय स्थिरता मजबूत करने के लिए अतिरिक्त 200 करोड़ रुपये का भुगतान किया, जो बोली राशि से अलग था.

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अब फंड निवेश पर फैसला लिया जाएगा

अशोक हिंदुजा ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि हमारी तरफ से यह लेन-देन पूरा हो चुका है. हमने इस डील पर तीन साल तक काम किया है. हिंदुजा ने कहा कि अब मूल्य सृजन (वैल्यू क्रिएशन) की यात्रा शुरू होगी. उनके मुताबिक, रिलायंस कैपिटल के बीमा व्यवसाय का मूल्य सतर्क अनुमान के अनुसार 20,000 करोड़ रुपये हो सकता है. उन्होंने बताया कि IIHL जल्द ही पूरे RCAP कारोबार की समीक्षा पूरी करेगा और जरूरत के मुताबिक फंड निवेश पर फैसला लिया जाएगा.

हिंदुजा ने आश्वस्त किया कि जब तक बिजनेस के वैल्यू क्रिएशन के लक्ष्य पूरे नहीं हो जाते, तब तक पूंजी निवेश कोई समस्या नहीं होगी. हिंदुजा ने बताया कि रिलायंस कैपिटल की करीब 39-40 सहायक कंपनियां (सब्सिडियरी) हैं, जिनमें से कई छोटे बिजनेस वाली शेल कंपनियां हैं. नया प्रबंधन इनमें से कई को बेचने की योजना बना रहा है. हालांकि, ब्रोकिंग और एसेट रिकंस्ट्रक्शन (संपत्ति पुनर्निर्माण) व्यवसाय को रखा जाएगा.

वित्तीय सेवा फर्म में 1.28 लाख कर्मचारी हैं

वहीं, बीमा कंपनियों की लिस्टिंग के बारे में पूछे जाने पर हिंदुजा ने कहा कि यह वैल्यू क्रिएशन के दो साल बाद हो सकता है. उन्होंने आश्वासन दिया कि वित्तीय सेवा फर्म में 1.28 लाख कर्मचारी हैं और नया प्रबंधन कर्मचारियों के हितों की रक्षा करेगा.ब्रांडिंग को लेकर हिंदुजा ने कहा कि एनसीएलटी की मंजूरी के अनुसार, तीन साल तक रिलायंस कैपिटल का नाम जारी रखा जा सकता है. हालांकि, इंडसइंड ब्रांड को प्रमोट करने की योजना है और इसके लिए प्रोफेशनल एजेंसियां अधिग्रहण के बाद मार्केटिंग रणनीति पर काम कर रही हैं.

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ब्रांड का एकीकरण कब पूरा होगा

उन्होंने कहा कि इंडसइंड ब्रांड का एकीकरण (ब्रांड ब्लेंडिंग) अगले 6-9 महीनों में पूरा हो सकता है. रिलायंस कैपिटल के अधिग्रहण के साथ, इंडसइंड इंटरनेशनल होल्डिंग्स लिमिटेड (IIHL) का लक्ष्य 2030 तक 50 अरब डॉलर की वैल्यूएशन हासिल करना है.