TATA में नोएल का दबदबा, ग्रुप में चल रहा फेरबदल, बेटियों की बढ़ी पावर
टाटा ट्रस्ट्स के चेयरमैन नोएल टाटा की बेटियां माया और लिआ टाटा रतन टाटा इंडस्ट्रियल इंस्टीट्यूट की बोर्ड मेंबर्स बन गई हैं. हालांकि उनके शामिल होने से ग्रुप के सदस्यों के बीच मनमुटाव देखने को मिला. लिया और माया की एंट्री को नोएल टाटा के ग्रुप में बढ़ते दबदबे के तौर पर देखा जा रहा है.
टाटा ट्रस्ट्स के चेयरमैन नोएल टाटा की बेटियां माया और लिआ टाटा ने रतन टाटा इंडस्ट्रियल इंस्टीट्यूट (SRTII) की बोर्ड में जगह बना ली है. यह इंस्टीट्यूट रतन टाटा ट्रस्ट का एक हिस्सा है, जो टाटा समूह की होल्डिंग कंपनी टाटा सन्स का एक प्रमुख शेयरहोल्डर है. माया और लिआ ने बोर्ड में पहले मौजूद अर्नाज कोटवाल और फ्रेडी तलाती की जगह ली है. इन दोनों के SRTII में शामिल होने के मई मायने निकाले जा रहे हैं. इससे नोएल टाटा की टाटा ग्रुप में बढ़ते दबदबे का अंदाजा लगाया जा रहा है, क्योंकि इससे पहले भी नोएल ने कंपनी के दो पदों को खत्म कर काफी सुर्खियां बंटोरी थीं.
क्यों किया गया बदलाव?
ईटी की रिपोर्ट के मुताबिक बोर्ड मेंबर्स में बदलाव के पीछे का मकसद कंपनी के मुताबिक SRTII को नया कलेवर देना है, जिसकी स्थापना 1928 में लेडी नवाजबाई टाटा और स्त्री जरथुस्त्री मंडल ने की थी. इस इंस्टीट्यूट को शुरू करने का मकसद गरीब महिलाओं को रोजगार देना था. यहां महिलाओं को खाना बनाना, सिलाई, कढ़ाई, और मोंटेसरी शिक्षण जैसे हुनर सिखाए जाते हैं. माया और लिया की नियुक्ति SRTII के बोर्ड ने एकमत से की, जिसमें नोएल टाटा, विजय सिंह, वेणु श्रीनिवासन, दारियस खंबाटा, जेहांगीर एच. जहांगीर और मेहली मिस्त्री शामिल हैं.
बड़ी जिम्मेदारी देने की तैयारी
रतन टाटा के 9 अक्टूबर 2024 में हुए निधन के बाद नोएल टाटा को 11 अक्टूबर को सर रतन टाटा ट्रस्ट्स और सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट का चेयरमैन बनाया गया था. नोएल टाटा की तीन संतानें, लिआ (39), माया (36), और नेविल (32) हैं. अभी तक नोएल टाटा के बच्चे टाटा के सभी छोटे ट्रस्टों के बोर्ड में मौजूद थे, लेकिन उनकी दो मुख्य ट्रस्टों – सर रतन टाटा ट्रस्ट एंड एलाइड ट्रस्ट, तथा सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट एंड एलाइड ट्रस्ट में एंट्री बाकी थी. इसी को ध्यान में रखते हुए नोएल टाटा की दोनों बेटियों लिआ और माया को SRTII के बोर्ड में शामिल किया गया है. माना जा रहा है कि युवा पीढ़ी को ट्रस्ट में शामिल करके उन्हें भविष्य में बड़ी जिम्मेदारियों के लिए तैयार किया जा रहा है.
इन कंपनियों में है अहम भूमिका
माया और लिआ टाटा समूह की कंपनियों में प्रबंधकीय भूमिकाओं में हैं. माया टाटा डिजिटल में हैं और लिआ इंडियन होटल्स में. लिआ ने IE बिजनेस स्कूल से मार्केटिंग में मास्टर डिग्री हासिल की है और वर्तमान में इंडियन होटल्स में उपाध्यक्ष के पद पर हैं. जबकि उनकी बहन ने टाटा कैपिटल में अपना करियर शुरू किया और वह टाटा न्यू ऐप को मैनेज करने वाली टीम का हिस्सा हैं.
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नए बोर्ड मेंबर्स की नियुक्ति से बढ़ी तल्खी
ट्रस्टियों के इस बदलाव से आंतरिक मतभेद पैदा हो गए हैं. ईटी की रिपोर्ट के मुताबिक माया और लिआ की नियुक्ति से अर्नाज कोटवाल नाखुश हैं, उन्होंने अपने साथी ट्रस्टियों को लेटर लिखकर शिकायत की थी कि कैसे नए ट्रस्टियों की नियुक्ति की अनुमति देने के लिए उनसे इस्तीफा देने के लिए कहा गया था.
नोएल टाटा के इस फैसले से भी हुए थे शॉक्ड
रतन टाटा इंडस्ट्रियल इंस्टीट्यूट के बोर्ड में अपनी बेटियों की जगह पक्की करने वाले नोएल टाटा पहले भी अपने फैसलों को लेकर चर्चाओं में रहें हैं. कंपनी की कमान संभालने के बाद नोएल टाटा ने कंपनी के दो पदों चीफ फाइनेंस ऑफिसर (CFO) और चीफ ऑपरेटिंग ऑफिसर (COO) को खत्म कर देने का फैसला किया था. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक नोएल का कहना था कि कंपनी के खर्च और प्रबंधन लागत में कटौती करने के लिए यह निर्णय लिया है. बता दें टाटा ट्रस्ट के पास टाटा संस में 66% हिस्सेदारी है, लिहाजा यह दूसरी कंपनियों पर महत्वपूर्ण नियंत्रण रखता है.