भारत की आर्थिक ग्रोथ में तेजी की उम्मीद, तीसरी तिमाही में कंपनियों की होगी बेहतर कमाई

कई ब्रोकरेज के अनुमानों के अनुसार, दिसंबर तिमाही में निफ्टी 50 कंपनियों का संयुक्त शुद्ध लाभ सबसे तेज गति से बढ़ सकता है. एक्सपर्ट का मानना ​​है कि, हाल की तिमाहियों में सुस्त प्रदर्शन के बाद, कंपनी ने दिसंबर तिमाही में मजबूत परफोर्म किया.

शेयरों में इंट्रा-डे ट्रेड में लगभग 5 फीसदी की वृद्धि हुई. Image Credit: getty images

घरेलू मांग में फिर से मजबूती आने के चलते भारत की आर्थिक ग्रोथ में उछाल आने की उम्मीद है. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने अपने मासिक बुलेटिन में कहा कि शुरुआती संकेत से भारतीय कंपनियों की बेहतर कमाई की उम्मीद है. RBI ने कहा कि वित्त वर्ष 2025 की तीसरी तिमाही में पहली दो तिमाहियों की तुलना में भारतीय कंपनियां अधिक रेवेन्यू दर्ज कर सकती हैं. साथ ही इनकम में भी बढ़ोतरी की उम्मीद है.

केंद्रीय बैंक ने आगे कहा कि ग्रामीण मांग में तेजी जारी है, जो बेहतर कृषि संभावनाओं द्वारा समर्थित उपभोग में लचीलापन दर्शाती है. RBI के अनुसार वित्त वर्ष 2025 की दूसरी छमाही में आर्थिक गतिविधि के उच्च आवृत्ति संकेतकों में अनुकूल तेजी है, जिसका अर्थ है कि इस अवधि के लिए वास्तविक सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि में तेजी आएगी. इसके अलावा बुनियादी ढांचे पर सार्वजनिक पूंजीगत व्यय (कैपेक्स) में सुधार से भी प्रमुख क्षेत्रों में वृद्धि को बढ़ावा मिलने की संभावना है. हालांकि, दिसंबर में लगातार दूसरे महीने महंगाई में कमी आई है. लेकिन खाद्य मंहगाई में स्थिरता के कारण दूसरे क्रम के प्रभावों की सावधानीपूर्वक निगरानी की आवश्यकता है.

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50 कंपनियों का बढ़ जाएगा मुनाफा

कई ब्रोकरेज के अनुमानों के अनुसार, दिसंबर तिमाही में निफ्टी 50 कंपनियों का संयुक्त शुद्ध लाभ सबसे तेज गति से बढ़ सकता है, जिसे बैंकिंग, वित्त और बीमा कंपनियों द्वारा मजबूत वृद्धि से बढ़ावा मिलेगा. दिलचस्प बात यह है कि गैर-सूचीबद्ध कंपनियों के अपने सूचीबद्ध समकक्षों से तेज राजस्व वृद्धि के साथ आगे निकलने की संभावना है. उदाहरण के लिए, रिलायंस इंडस्ट्रीज ने तीसरी तिमाही में उम्मीद से बेहतर इनकम दर्ज की, जिसके शेयरों में इंट्रा-डे ट्रेड में लगभग 5 फीसदी की वृद्धि हुई.

क्या कहते हैं एक्सपर्ट

एक्सपर्ट का मानना ​​है कि, हाल की तिमाहियों में सुस्त प्रदर्शन के बाद, कंपनी ने दिसंबर तिमाही में मजबूत परफोर्म किया, जिसमें रिटेल डिसप्ले में सुधार मुख्य आकर्षण रहा. इसके बाद तेल-से-रसायन क्षेत्र में बेहतर प्रदर्शन हुआ. आरबीआई के अनुसार, प्राइवेट फाइनल कंजप्शन से अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी, जो ई-कॉमर्स और इंस्टेंट ई कॉमर्स द्वारा संचालित है.

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