छोटे मर्चेंट की UPI ट्रांजेक्शन की लागत कवर करेगी सरकार, कैबिनेट ने मंजूर किया 1,500 करोड़ का इंसेंटिव
Incentive UPI system: वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए ‘पर्सन टू मर्चेंट (P2M) तक लो वैल्यू के भीम-यूपीआई लेनदेन को बढ़ावा देने के लिए प्रोत्साहन योजना को मंजूरी दी गई है. सरकार का लक्ष्य 2024-25 में कुल UPI ट्रांजेक्शन के वॉल्यूम को 20,000 करोड़ रुपये तक पहुंचाना है.
Incentive UPI system: केंद्र सरकार ने छोटे मर्चेंट पर आने वाले UPI ट्रांजेक्शन की लागत के बोझ को कवर करने के लिए 1,500 करोड़ रुपये की प्रोत्साहन राशि को मंजूरी दी है. बुधवार 19 मार्च को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय कैबिनेट 2,000 रुपये तक के भुगतान पर ग्राहकों की लेनदेन लागत को कवर करने के लिए UPI सिस्टम के तहत 1,500 करोड़ रुपये के प्रोत्साहन को मंजूर किया है. वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए ‘पर्सन टू मर्चेंट (P2M) तक लो वैल्यू के भीम-यूपीआई लेनदेन को बढ़ावा देने के लिए प्रोत्साहन योजना को मंजूरी दी गई है.
कब से लागू होगी स्कीम
लो वैल्यू UPI ट्रांजेक्शन (P2M) को बढ़ावा देने के लिए प्रोत्साहन योजना 01.04.2024 से 31.03.2025 तक 1,500 करोड़ रुपये के अनुमानित आउटले पर पर लागू की जाएगी. इस योजना के तहत केवल छोटे व्यापारियों के लिए 2,000 रुपये तक के UPI (P2M) ट्रांजेक्शन को कवर किया जाएगा.
छोटे व्यापारियों को प्रोत्साहन के रूप में ट्रांजेक्शन वैल्यू का 0.15 फीसदी मिलेगा. हालांकि, बड़े व्यापारियों को UPI लेनदेन के लिए कोई प्रोत्साहन नहीं मिलेगा.
सरकार का लक्ष्य
सरकार का लक्ष्य फीचर फोन-आधारित (UPI 123PAY) और ऑफलाइन (UPI लाइट) पेमेंट सॉल्यूशन के जरिए ग्रामीण और दूरदराज के क्षेत्रों में UPI को अपनाने के लिए बढ़ावा देना है. इस योजना का लक्ष्य वित्त वर्ष 2024-25 में कुल UPI लेनदेन की वॉल्यूम को 20,000 करोड़ रुपये तक पहुंचाना है.
सरकार 2020 से RuPay डेबिट कार्ड और BHIM-UPI लेनदेन पर मर्चेंट डिस्काउंट रेट (MDR) को माफ करके डिजिटल भुगतान को प्रोत्साहित कर रही है. पिछले तीन वर्षों में डिजिटल ट्रांजेक्शन को बढ़ावा देने के लिए बैंकों और पेमेंट सर्विस प्रोवाइडर को 7,000 करोड़ रुपये से अधिक की प्रोत्साहन राशि दी गई है.
खास बातें
- छोटे मर्चेंट के लिए 2,000 रुपये तक के UPI (P2M) लेनदेन के लिए प्रति ट्रांजेक्शन वैल्यू पर 0.15 प्रतिशत का प्रोत्साहन.
- सभी कैटेगरी में लेनदेन के लिए शून्य मर्चेंट डिस्काउंट दर (MDR) जिससे लागत-मुक्त डिजिटल लेनदेन सुनिश्चित होगा.
- अधिग्रहण करने वाले बैंकों द्वारा मंजूर क्लेम राशि का 80 फीसदी प्रत्येक तिमाही में बिना किसी शर्त के बांटा जाएगा.
- शेष 20 फीसदी केवल तभी जारी किया जाएगा जब बैंक तकनीकी गिरावट को 0.75 फीसदी से कम और सिस्टम अपटाइम को 99.5 फीसदी से अधिक बनाए रखेंगे.