अब Passport बनवाना होगा और भी आसान, खुलेंगे 600 नए पासपोर्ट सेवा केंद्र
POPSKs सेवा की शुरुआत 2017 में हुई थी. इसका उद्देश्य नागरिकों को पासपोर्ट संबंधित सेवाएं उनकी पहुंच के करीब उपलब्ध कराना था. इसके तहत अब तक 1.52 करोड़ से अधिक नागरिकों को सेवा दी गई है. देशभर में 442 POPSKs पहले से ही काम कर रहे हैं.
विदेश जाने वालों की संख्या तो बढ़ ही रही साथ ही कई लोग विदेश जाने की संभावना के चलते भी पासपोर्ट बनवाते हैं, इसके बाद पासपोर्ट से जुड़ी कई सेवाओं के लिए भी पासपोर्ट केंद्र में भीड़ बढ़ रही है. इस बीच डाक विभाग यानी India Post और विदेश मंत्रालय (MEA) ने एक समझौता किया है. इसके तहत 600 नए पासपोर्ट सेवा केंद्र यानी POPSKs देशभर में बनाए जाएंगे. केंद्रीय टेलीकॉम मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने शुक्रवार को इंडिया इकोनॉमिक एन्क्लेव 2024 में इसकी जानकारी दी.
केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि, “इंडिया पोस्ट के पास पूरे देश में करीब 6,40,000 पॉइंट ऑफ सेल हैं, जो किसी भी अन्य सेवा नेटवर्क से बड़ा है. अगले 3-4 सालों में, हम इसे एक नागरिक-केंद्रित सेवा में बदल देंगे. हमने आज MEA के साथ एक समझौता किया है, जिसके तहत 600 नए पासपोर्ट सेवा केंद्र स्थापित किए जाएंगे. हमारा लक्ष्य है कि हर साल एक करोड़ नागरिकों को इस नेटवर्क के माध्यम से सेवा प्रदान करें.”
बता दें कि POPSKs सेवा की शुरुआत 2017 में हुई थी. इसका उद्देश्य नागरिकों को पासपोर्ट संबंधित सेवाएं उनकी पहुंच के करीब उपलब्ध कराना था. इसके तहत अब तक 1.52 करोड़ से अधिक नागरिकों को सेवा दी गई है. देशभर में 442 POPSKs पहले से ही काम कर रहे हैं. साल 2028-29 तक कुल 600 नए POPSKs स्थापित किए जाएंगे. ये केंद्र पोस्ट ऑफिस में स्थापित किए जाएंगे, जिससे ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में नागरिकों को पासपोर्ट सेवाएं मिलेगी.
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इंडिया पोस्ट की अन्य योजनाएं
ज्योतिरादित्य सिंधिया ने बताया कि इंडिया पोस्ट कई अन्य क्षेत्रों में भी विस्तार कर रहा है. जैसे, पोस्टल और जीवन बीमा सेवाएं, ग्रामीण क्षेत्रों में ग्रामीण डाक जीवन बीमा (RPLI) का विस्तार किया जाएगा. पार्सल सेवाओं को मुख्य फोकस बनाकर, इंडिया पोस्ट खुद को लॉजिस्टिक कंपनी के रूप में बदल रहा है.
उन्होंने बताया कि, इंडिया पोस्ट का नेटवर्क दुनिया में सबसे बड़ा है. पूरे देश में 6,40,000 केंद्र हैं. यह नेटवर्क ग्रामीण और दूरदराज के क्षेत्रों में भी मौजूद है, जिससे सेवाओं को देश के हर कोने तक पहुंचाया जा सकता है.