तांबे का तार बनाने वाली कंपनी ला रही IPO, फाइल किए पेपर, 320 करोड़ के फ्रेश इश्‍यू और OFS होंगे शामिल

कॉपर तार बनाने वाली देश की दिग्‍गज कंपनी अपना आईपीओ लाने वाली है. इसके लिए कंपनी ने सेबी के पास ड्राफ्ट पेपर दाखिल किए हैं. कंपनी की प्‍लानिंग इसके जरिए बाजार में अपनी स्थिति मजबूत करने की है.

तार बनाने वाली कंपनी विद्या वायर्स ला रही है आईपीओ Image Credit: freepik

Vidya Wires IPO: तांबे के तार बनाने वाली कंपनी विद्या वायर्स लिमिटेड जल्‍द ही अपना आईपीओ लाने वाली है. इसके लिए कंपनी ने भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) के पास अपना ड्राफ्ट रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस (drhp) जमा किया है. इस आईपीओ में फ्रेश इक्विटी शेयरों समेत ऑफर फाॅर सेल यानी OFS दोनों की पेशकश होगी. कंपनी आईपीओ के जरिए अपने बिजनेस का विस्‍तार करना चाहती है.

कितने करोड़ के शेयर होंगे जारी?

इस सार्वजनिक निर्गम यानी IPO में 320 करोड़ रुपये के नए इक्विटी शेयरों काे पेश किया जाएगा. साथ ही इसमें प्रोमोटर शेयरधारकों की ओर से 1,00,00,000 इक्विटी शेयरों की बिक्री की पेशकश (OFS) होगी, प्रत्येक की फेस वैल्‍यू 1 रुपया है.

कौन है बुक लीड मैनेजर?

इस आईपीओ के लिए बुक रनिंग लीड मैनेजर्स के रूप में पंतोमथ कैपिटल एडवाइजर्स प्राइवेट लिमिटेड और आईडीबीआई कैपिटल मार्केट्स एंड सिक्योरिटीज लिमिटेड कार्य कर रहे हैं.

कौन है प्रमोटर?

विद्या वायर्स के प्रमोटर श्यामसुंदर राठी, शैलेश राठी और शिल्पा राठी हैं. कंपनी की योजना आईपीओ से जुटाई रकम का उपयोग अपनी सहायक कंपनी ALCU में एक नई परियोजना की स्थापना करना है, इसके लिए कैपिटल खर्चों की जरूरतों को पूरा करने के लिए किया जाएगा. इसके अलावा कंपनी पहले के कर्ज को पूर्ण रूप से या आंशिक रूप से चुकाने या प्रीपेमेंट करने में करेगी. इसके अलावा सामान्य कॉर्पोरेट गतिविधियों के लिए भी इसका उपयोग किया जाएगा.

क्‍या करती है कंपनी?

विद्या वायर्स लिमिटेड की स्‍थापना 1981 में हुई थी. यह अपनी स्थापित क्षमता के हिसाब से भारत के कॉपर और एल्युमीनियम वायर उद्योग में चौथा सबसे बड़ा निर्माता बन गया है. कंपनी कॉपर यानी तांबे और एल्युमीनियम वायर प्रोडक्‍ट बनाती है. इनमें एनामेल्ड कॉपर वायर, पेपर-कवर्ड वायर और स्ट्रिप्स, एनील्ड वायर, कॉपर टेप आदि शामिल हैं. विद्या वायर्स की तीन मैन्‍यूफैक्‍चरिंग यूनिट और एक वेयरहाउसिंग यूनिट है.

इंडस्‍ट्री के दिग्‍गज खिलाडि़यों में से एक

विद्या वायर्स विभिन्न महत्वपूर्ण क्षेत्रों और एप्‍लिकेशन्‍स में वाइंडिंग और कंडक्टिविटी उत्पादों की सबसे बड़ी निर्माताओं में से एक है. केयरएज रिपोर्ट के अनुसार, विद्या वायर्स FY24 में भारतीय बाजार में स्थापित क्षमता के 5.9% हिस्से के साथ उद्योग में चौथा सबसे बड़ा निर्माता है. निर्माण क्षमताओं को बढ़ाने और उत्पाद रेंज को विस्तारित करने के मकसद से आईपीओ ला रही है. इसके जरिए कंपनी बाजार में अपनी स्थिति को मजबूत करना चाहती है.

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कैसी है वित्‍तीय स्थिति?

कंपनी की उत्पादन क्षमता उपयोग वित्त वर्ष 2022 में 65.80% से बढ़कर सितंबर 2024 तक 89.98% हो गई है, और पिछले तीन वित्त वर्षों में उत्पादन मात्रा में 26.99% की वृद्धि हुई है. पिछले तीन वित्तीय वर्षों में कंपनी ने 370 से अधिक ग्राहकों का एक विविध आधार विकसित किया है. DRHP में उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार, विद्या वायर्स का मुनाफा वित्त वर्ष 2024 में बढ़कर 25.69 करोड़ रुपये हो गया, जो वित्त वर्ष 2023 में दर्ज 21.49 करोड़ रुपये से 19.54 प्रतिशत अधिक है. कंपनी का ऑपरेशनल रेवेन्‍यू वित्त वर्ष 2023 में 1,011.43 करोड़ रुपये दर्ज किया था, तो साल 2024 में 17.26 प्रतिशत बढ़कर 1,186.07 करोड़ रुपये हो गया था.