बड़े काम का है स्वामित्व कार्ड ,कोई नहीं कर पाएगा जमीन-घर पर अवैध कब्जा, ऐसे करें अप्लाई

केंद्र ने ग्रामीण भारत में संपत्तियों को वैध बनाने और उन्हें आर्थिक विकास का जरूरी आधार बनाने के लिए स्वामित्व योजना के तहत 2.19 करोड़ प्रॉपर्टी कार्ड बांटने का टारगेट रखा है. इस योजना को 2026 तक पूरा किया जाएगा. शुक्रवार यानी 27 दिसंबर को पीएम मोदी वर्चुअली इसे 58 लाख लोगों को बांटेंगे.

क्या है स्वामित्व प्रॉपर्टी कार्ड? Image Credit: @Tv9

गांव में रहने वाले लोगों की संपत्ति के रिकॉर्ड को डिजिटल बनाने के लिए स्वामित्व योजना शुरू की गई थी. इसके जरिये ग्रामीण भारत के लोगों के बीच जमीन को लेकर होने वाली लड़ाइयों से लेकर उनके दस्तावेज को डिजिटल करने की पूरी व्यवस्था कर दी गई है. इस योजना के शुरू होने के चार साल बाद शुक्रवार, 27 दिसंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 12 राज्यों के 50,000 से अधिक गांवों में 58 लाख लोगों को संपत्ति कार्ड देने वाले हैं.

क्या है स्वामित्व योजना?

सरकार ने ग्रामीण भारत में संपत्तियों को वैध बनाने और उन्हें आर्थिक विकास का अहम आधार बनाने के लिए स्वामित्व योजना के तहत 2.19 करोड़ प्रॉपर्टी कार्ड बांटने का टारगेट रखा है. इस योजना को 2026 तक पूरा किया जाएगा. इसको लेकर पंचायती राज मंत्रालय के सचिव विवेक भारद्वाज ने बताया कि यह योजना ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों के संपत्ति के अधिकार देने और उसे बैंक से कर्ज लेने के लिए उपयोगी बनाने में मदद करेगी. इसकी शुरुआत 2020 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने की थी. इसका मुख्य उद्देश्य गांवों के आबादी वाले क्षेत्रों की संपत्तियों का रिकॉर्ड बनाना है.

ड्रोन से होगा सर्वे

इस काम को पूरा करने के लिए ड्रोन और जीआईएस तकनीक का इस्तेमाल करके ग्रामीण इलाकों की जमीन का सर्वे किया जा रहा है. अब तक तकरीबन 3.44 लाख गांवों को इस योजना में शामिल किया जा चुका है. उनमें से 92 फीसदी से यानी 3.17 लाख गांवों का सर्वे हो चुका है.

इस योजना से क्या होगा फायदा?

इसका सबसे बड़ा फायदा प्रॉपर्टी को लेकर आए दिन होने वाले क्लेश में कमी से होगा. यानी संपत्तियों से जुड़े विवाद कम होंगे. इसके अलावा बैंक से कर्ज लेने में भी आसानी होगी और इससे संपत्तियों का मोनेटाइजेशन भी होगा. इस योजना को लेकर सरकार का टारगेट था कि इसे मार्च 2025 तक पूरा किया जाए लेकिन अब इसे मार्च 2026 तक टाल दिया गया है.

इन राज्यों को जारी किए जाएंगे प्रॉपर्टी कार्ड

वर्चुअल कार्यक्रम के दौरान 10 राज्यों जिसमें छत्तीसगढ़, गुजरात, हिमाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, मिजोरम, ओडिशा, पंजाब, राजस्थान, उत्तर प्रदेश और दो केंद्र शासित प्रदेश- जम्मू कश्मीर और लद्दाख मौजूद हैं, के लगभग 50,000 गांवों के 58 लाख संपत्ति मालिकों को प्रॉपर्टी कार्ड जारी किए जाएंगे.

वहीं दूसरी ओर कई राज्यों ने इसमें हिस्सा लेने से मना भी कर दिया है. इसमें पश्चिम बंगाल, बिहार, तेलंगाना, मेघालय और नागालैंड शामिल हैं, तमिलनाडु ने इस योजना के तहत केवल पायलट प्रोजेक्ट किया है.

स्वामित्व योजना में कैसे करें आवेदन?

इस योजना के लिए भारत का हर ग्रामीण पात्र है. कोई भी व्यक्ति ई-ग्राम वेब पोर्टल या ई-ग्राम स्वराज मोबाइल एप्लीकेशन के माध्यम से ऑनलाइन पंजीकरण करके इस योजना का लाभ उठा सकता है-

  1. इसके लिए आपको ई-ग्राम स्वराज की आधिकारिक वेबसाइट पर जाना होगा.
  2. होमपेज पर नया पंजीकरण बटन पर क्लिक कर, लॉगिन करें.
  3. वहां पर न्यू यूजर रजिस्ट्रेशन पर क्लिक करें.
  4. वहां पर अपनी जानकारी डालें, इसमें नाम, ए़ड्रैस, कॉन्टैक्ट इंफो और लैंड होल्डिंग शामिल हैं.
  5. अगले पेज पर फॉर्म रिव्यू करें और सबमिट पर क्लिक करें.
  6. सबमिट करने के बाद कंफर्मेशन रिसीट मिलेगा जिस पर एप्लीकेशन नंबर भी लिखा हुआ होगा.
  7. इसके बाद आपके मोबाइल नंबर पर आए लिंक पर क्लिक करें. जिसके जरिये स्वामित्व योजना का कार्ड को डाउनलोड किया जा सकता है.