Delhi-NCR में घर खरीदना हुआ महंगा, 5 साल में 93 फीसदी बढ़ गई कीमत, जानें अलग-अलग इलाकों का रेट
बेंगलुरू में घरों की कीमतों में तेजी से बढ़ोतरी हुई है. यहां के रियल एस्टेट हब कहने जाने वाले गुंजुर और देवनहल्ली इलाकों में कीमतों में सबसे अधिक वृद्धि हुई है. अभी गुंजूर में, घरों की कीमतें 5,030 रुपये प्रति वर्ग फीट से बढ़कर 8,500 रुपये प्रति वर्ग फीट हो गई हैं.
भले ही देश के प्रमुख शहरों में घरों की बिक्री में गिरावट आने की संभावना जताई जा रही है, लेकिन कीमतों में बंपर बढ़ोतरी हुई है. एनारॉक के अनुसार, बेंगलुरु के पेरिफेरल क्षेत्र गुंजूर में घरों कीमतों में 69 प्रतिशत दर्ज की गई है. खास बात यह है कि ये बढ़ोतरी पिछले 5 साल के दौरान हुई है. वहीं, दिल्ली-एनसीआर में नोएडा एक्सप्रेसवे पर भी रियल एस्टेट कारोबार तेजी से बढ़ रहा है. यही वजह है कि नोएडा एक्सप्रेसवे पर भी घरों की कीमतों में 66 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई. बड़ी बात यह है कि घरों की कीमतों में 90 फीसदी से भी अधिक बढ़ोतरी द्वारका एक्सप्रेसवे पर हुई है.
रियल एस्टेट कंसल्टेंट एनारॉक के आंकड़ों के अनुसार, नोएडा एक्सप्रेसवे में औसत घर की कीमतें सितंबर 2024 की तिमाही में 8,400 रुपये प्रति वर्ग फुट रहीं, जबकि 2019 में यह 5,075 रुपये प्रति वर्ग फुट थी. इसी तरह एनसीआर के पेरिफेरल क्षेत्र सोहना में भी घरों की कीमतें 43 प्रतिशत बढ़कर 4,120 रुपये प्रति वर्ग फुट से 5,900 रुपये प्रति वर्ग फुट हो गईं. जबकि इसी अवधि में न्यू गुरुग्राम में 59 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई. इसके अलावा द्वारका एक्सप्रेसवे पर औसत घरों की कीमतों में 93 प्रतिशत की महत्वपूर्ण वृद्धि देखी गई है, जो 5,359 प्रति वर्ग फीट से बढ़कर 10,350 रुपये प्रति वर्ग फीट हो गई.
बेंगलुरू में इतनी हुई कीमतें
पीटीआई के मुताबिक, बेंगलुरू के पेरिफेरल क्षेत्र गुंजूर में, आवास की कीमतें 5,030 रुपये प्रति वर्ग फीट से बढ़कर 8,500 रुपये प्रति वर्ग फीट हो गई हैं. हाउसिंग ब्रोकरेज फर्म InvestoXpert.com के संस्थापक और एमडी विशाल रहेजा ने कहा कि नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे सस्टेनेबिलिटी और विकास क्षमता के बीच सही संतुलन बनाता है, जो मध्यम श्रेणी के खरीदारों और निवेशकों को समान रूप से आकर्षित करता है. उन्होंने कहा कि नोएडा में औसत संपत्ति की कीमतें बढ़कर 1.05 करोड़ रुपये हो गई हैं, लेकिन यह क्षेत्र अभी भी गुरुग्राम या मध्य दिल्ली की तुलना में प्रतिस्पर्धी मूल्य प्रदान करता है.
हर साल 15 फीसदी बढ़ेगा रेट
रहेजा ने कहा कि मेट्रो एक्सटेंशन, एक्सप्रेसवे और आगामी जेवर अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के माध्यम से बढ़ी हुई कनेक्टिविटी के साथ, इस क्षेत्र में सालाना 10-15 प्रतिशत की कीमत में और वृद्धि होने की संभावना है. सीआरसी ग्रुप के निदेशक (मार्केटिंग और बिजनेस मैनेजमेंट) सलिल कुमार ने कहा कि नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे हमेशा से ही एक प्रमुख आवासीय गंतव्य रहा है, लेकिन पिछले कुछ वर्षों में, इस क्षेत्र ने एनसीआर के सबसे प्रमुख लक्जरी आवासीय केंद्रों में से एक के रूप में अपनी स्थिति मजबूत की है. इसके चलते वाणिज्यिक खंड, कार्यालय और खुदरा दोनों स्थानों में भारी निवेश हुआ. एक्सप्रेसवे का एक प्रमुख कारक इसकी रणनीतिक स्थिति है.
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क्या कहते हैं एक्सपर्ट
उन्होंने कहा कि नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना एक्सप्रेसवे से इसकी निकटता, जिसमें आगामी नोएडा हवाई अड्डा भी शामिल है, ने इस क्षेत्र में भारी रुचि पैदा की है, जिसके चलते कीमतों में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है. गीतांजलि होमस्टेट के संस्थापक सुनील सिसोदिया ने कहा कि बुनियादी ढांचे के विकास और निर्बाध कनेक्टिविटी के कारण नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे की कीमतों में वृद्धि देखी गई है. प्रॉपर्टी फर्स्ट के संस्थापक और सीईओ भावेश कोठारी ने बेंगलुरु बाजार पर कहा कि बेंगलुरु के पेरिफेरल क्षेत्र अपनी बेहतर कनेक्टिविटी, सामर्थ्य और विशाल भूमि पार्सल के कारण अत्यधिक मांग वाले रियल एस्टेट गंतव्य बन रहे हैं. उन्होंने कहा कि ये कारक डेवलपर्स को ऐसे क्षेत्रों में प्रीमियम आवासीय परियोजनाएं बनाने के लिए प्रेरित कर रहे हैं, जिनमें लक्जरी सुविधाएं और हरित स्थान शामिल हैं.
बेंगलुरु में भी बढ़े रेट
कोठारी ने कहा कि इस तरह के विकास की मांग ने बेंगलुरु के आगामी रियल एस्टेट हब जैसे गुंजुर और देवनहल्ली में कीमतों में तेज वृद्धि देखी है. बीसीडी ग्रुप के सीएमडी अंगद बेदी ने कहा कि बेंगलुरु के बाहरी इलाकों में आवासीय संपत्ति की कीमतें काफी बढ़ रही हैं, यहां तक कि प्रमुख स्थानों की कीमतों से भी आगे निकल गई हैं. उन्होंने कहा कि यह प्रवृत्ति खासकर कोरोना महामारी के बाद तेजी से लोकप्रिय हो गई है.
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