ये Cement Stocks कराएंगे मोटी कमाई! Nomura ने दिया ये टार्गेट प्राइस
नोमुरा ब्रोकरेज ने भारतीय सीमेंट इंडस्ट्री के लिए एक नई रिपोर्ट जारी की है, जिसमें उन्होंने कुछ कंपनियों के लिए टारगेट प्राइस तय किया है. इस रिपोर्ट में कई कंपनियों को लेकर महत्वपूर्ण रेटिंग अपडेट की गई है.
भारतीय सीमेंट उद्योग में वर्तमान में उतार-चढ़ाव का दौर चल रहा है और इस समय में विभिन्न ब्रोकरेज फर्म्स अपनी राय और भविष्यवाणियों के जरिए निवेशकों को मार्गदर्शन दे रही हैं. इसी कड़ी में नॉमुरा ब्रोकरेज फर्म ने भारतीय सीमेंट सेक्टर के बारे में अपनी रिपोर्ट जारी की है जिसमें उन्होंने उद्योग की आगामी संभावनाओं और विभिन्न कंपनियों की रेटिंग पर विस्तार से चर्चा की है. इस रिपोर्ट में नॉमुरा ने उद्योग के लिए मजबूत नजरिया व्यक्त किया है साथ ही कुछ कंपनियों को लेकर अपनी रेटिंग को अपडेट भी किया है.
FY26F में बेहतर वॉल्यूम ग्रोथ
नॉमुरा ब्रोकरेज फर्म ने भारतीय सीमेंट उद्योग के लिए FY25F और FY26F के दौरान वॉल्यूम ग्रोथ में सुधार की उम्मीद जताई है. हालांकि, उन्होंने FY25F के लिए वॉल्यूम ग्रोथ का अनुमान घटाकर 3 फीसदी कर दिया है लेकिन अगले वित्तीय वर्ष FY26F के लिए 6 फीसदी y-y वॉल्यूम ग्रोथ का अनुमान है. उनका मानना है कि विभिन्न मंत्रालयों और कल्याण योजनाओं के तहत जारी होने वाली सरकारी फंडिंग से सीमेंट की मांग को बढ़ावा मिलेगा. विशेष रूप से, किफायती आवास और बुनियादी ढांचा क्षेत्र इस विकास को प्रमुख रूप से प्रभावित करेंगे.
टारगेट प्राइस और कंपनियों की रेटिंग
नॉमुरा ने भारतीय सीमेंट कंपनियों के लिए अपने टारगेट प्राइस में भी अपडेट किया है. उन्होंने Ultratech (UTCEM IN), Ambuja (ACEM IN), और Ramco (TRCL IN) को ‘Buy’ रेटिंग दी है. वहीं, Shree Cement (SRCM IN) को ‘Buy’ से न्यूट्रल किया गया है और इसका टारगेट प्राइस भी घटा दिया है. ACC (ACC IN) और Nuvoco (NUVOCO IN) को ‘न्यूट्रल’ से ‘रिड्यूस’ रेटिंग दी गई है. इसके अलावा, Dalmia Bharat (DALBHARA IN) को ‘रिड्यूस’ रेटिंग दी गई है.
सीमेंट कीमतों पर नजर
नॉमुरा की रिपोर्ट के अनुसार, सीमेंट के व्यापार मूल्य में कमी देखी जा रही है. FY25F के पहले नौ महीनों में सीमेंट के व्यापार मूल्य में 8 फीसदी की गिरावट आई है, जो मुख्य रूप से कमजोर मांग का नतीजा है.हालांकि, नॉमुरा का मानना है कि अगले कुछ वर्षों में सीमेंट कीमतों में कोई बड़ी वृद्धि होने की संभावना नहीं है क्योंकि उद्योग में प्रतिस्पर्धा और बाजार हिस्सेदारी को लेकर संघर्ष जारी रहेगा.वे यह भी मानते हैं कि सीमेंट के मार्केट वैल्यू में कोई भी बड़ी बढ़ोतरी लंबे समय तक नहीं टिक पाएगी.
नॉमुरा ने यह भी स्पष्ट किया है कि भारतीय सीमेंट इंडस्ट्री की ग्रोथ का मुख्य श्रेय बुनियादी ढांचा और किफायती आवास परियोजनाओं को मिलेगा, जिनका भारतीय सीमेंट बाजार में 9% और 25% का योगदान है. रिपोर्ट की मानें तो आने वाले वर्षों में, इन क्षेत्रों से सीमेंट की मांग में वृद्धि होने की उम्मीद है जो उद्योग की वॉल्यूम ग्रोथ को बढ़ावा देगी.
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फ्यूल की लागत पर कमी का प्रभाव
सीमेंट उत्पादन के लिए फ्यूल की लागत में कमी भी एक महत्वपूर्ण पहलू है. रिपोर्ट में कहा गया है कि FY23 से लेकर अब तक पेट कोक और थर्मल कोल की कीमतों में गिरावट आई है, जिससे सीमेंट कंपनियों को कच्चे माल की लागत में राहत मिली है. हालांकि, अब फ्यूल की कीमतों में बढ़ोतरी हो रही है और सीमेंट कंपनियों के लिए इन लाभों का अब पहले जैसा फायदा नहीं हो रहा है. इसलिए, कंपनियों को अब लागत बचत उपायों पर ध्यान केंद्रित करना होगा जैसे कि थर्मल एनर्जी का इस्तेमाल घटाना और ग्रीन एनर्जी का मिश्रण बढ़ाना.
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