ट्रंप के टैरिफ से सहमा अमेरिकी बाजार! Nasdaq सहित दूसरे इंडेक्स हुए लाल, भारतीय मार्केट को कितना खतरा?

आने वाले दिन भारतीय शेयर बाजार के लिए काफी अहम हो सकते हैं. क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप नए टैरिफ का ऐलान करने वाले हैं. ट्रंप का टैरिफ वार अमेरिकी वॉल स्ट्रीट के प्रमुख इंडेक्स पर पहले ही असर दिखाने लगा है जहां नैस्डेक और एसएंडपी इंडेक्स छह महीने के निचले स्तर पर पहुंच गए हैं. भारत में अमेरिकी शेयर बाजार का असर खासकर आईटी और ऑटोमोबाइल सेक्टर पर दिख सकता है.

ट्रंप का टैरिफ Image Credit: @Money9live

Trump Tariff effect: 2 अप्रैल भारतीय शेयर मार्केट के लिए काफी अहम दिन साबित हो सकता है क्योंकि इसी दिन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के टैरिफ धमकियों का असर दिखने सकता है. हालांकि ट्रंप के टैरिफ वार का कहर अमेरिकी वॉल स्ट्रीट प्रमुख इंडेक्स पर अभी से दिखना शुरू हो चुका है. 31 मार्च, सोमवार को यूनाइटेड स्टेट ऑफ अमेरिका के शेयर बाजार 6 महीने के निचले स्तर पर पहुंच गए हैं.

सुबह 9:30 (Eastern Daylight Time), अमेरिकी बेंचमार्क इंडेक्स लाल निशान के साथ खुले. डॉव जोन्स इंडस्ट्रियल एवरेज 0.68 फीसदी की गिरावट के साथ 41,293.25 अंक पर आ गया जबकि पिछले कारोबारी दिवस यानी शुक्रवार को यह 41,583.90 अंक पर बंद हुआ था.

Dow Jones, S&P और Nasdaq का क्या है हाल?

मार्केटवॉच के आंकड़ों के मुताबिक, शुरू में डॉव जोंस इंडेक्स गिरावट के साथ खुलने के बाद 0.20 फीसदी गिरकर 41,510.63 अंक पर कारोबार कर रहा था. वहीं S&P 500, सोमवार को अपने 6 महीने के निचले स्तर पर आ गया जो वर्तमान में 0.94 फीसदी की गिरावट के साथ 5,527.19 अंक पर कारोबार कर रहा है. वहीं पिछले कारोबारी दिवस के बाद जब बाजार बंद हुआ था तब यह  5,580.94 अंक की तुलना में 1.01 फीसदी की गिरावट के साथ 5,524.77 अंक पर खुला था.

Nasdaq इंडेक्स में भी गिरावट दर्ज की गई है. सोमवार को अमेरिकी बाजार खुलने के साथ नैस्डैक 1.58 फीसदी गिरकर 17,039.68 अंक पर आ गया. वहीं शुक्रवार को बाजार बंद होते वक्त यह 17,322.99 अंक पर था.

डोनाल्ड ट्रंप की टैरिफ धमकी

मालूम हो कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप 2 अप्रैल को दुनिया के लिए टैरिफ के नए सेट की ऐलान करने वाले हैं. ट्रंप ने 2 अप्रैल को ‘लिबरेशन डे’ के रूप में पहचाना है. इस दिन वह पारस्परिक (रेसिप्रोकल) टैरिफ शुरू करने की योजना बना रहे हैं. इस टैरिफ का उद्देश्य बिजनेस को बैलेंस करना और पश्चिमी देशों के लिए मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देना है.

नए टैरिफ पश्चिमी देश में एल्युमीनियम, स्टील और ऑटो के इंपोर्ट पर मौजूद टैरिफ के आधार पर बनाए जाएंगे. इससे पहले, राष्ट्रपति ट्रंप ने इंपोर्ट की गई वाहनों पर 25 फीसदी टैरिफ लगाने का वादा किया था इसी के साथ फार्मा, लकड़ी, सेमीकंडक्टर और तांबे के इंपोर्ट पर भी टैरिफ बढ़ाने का सुझाव दिया था.

भारत पर क्या पड़ेगा असर?

अमेरिकी शेयर बाजार का असर कहीं न कहीं भारतीय स्टॉक मार्केट पर तो पड़ता ही है. यूएस मार्केट का सबसे ज्यादा असर नैस्डेक इंडेक्स के जरिये भारतीय कंपनियों पर पड़ सकता है. 31 मार्च के आंकड़ों के मुताबिक, नैस्डेक इंडेक्स में आई गिरावट का असर भारतीय बाजार के आईटी सेक्टर पर दिख सकता है. इससे इतर ऑटो कंपोनेंट्स पर राष्ट्रपति ट्रंप की धमकी से ऑटोमोबाइल सेक्टर पर भी काफी दबाव बना हुआ है. इस तर्ज पर भारतीय बाजार पर ऑटो सेक्टर का भी प्रभाव पड़ सकता है.